कानपुर , धार्मिक आस्था से जुड़े रद्द अवकाशों को बहाल करने को लेकर मोहम्मदी यूथ ग्रुप के अध्यक्ष इखलाक अहमद डेविड व ग्रुप के पदाधिकारी उच्च शिक्षा राज्य मंत्री उ०प्र० नीलिमा कटियार के निवास पहुंचकर प्रदेश सरकार द्वारा धार्मिक आस्था से जुड़े रद्द अवकाश बहाल करने को लेकर चर्चा की।
ग्रुप के पदाधिकारियों ने उच्च शिक्षा राज्य मंत्री उ०प्र० नीलिमा कटियार को बताया कि सूबे की सरकार ने वर्ष 2017 मे 15 महापुरुषों की जयंती व बलिदान दिवस पर घोषित सार्वजनिक अवकाश रद्द कर दिये जिसमें महापुरुषों के साथ हिंदू मुस्लिम के धार्मिक/आस्था से जुड़े रद्द अवकाशों में चेटीचंद जयंती से भगवान झूलेलाल मे आस्था रखने वाले, परशुराम जयंती से भगवान परशुराम मे ब्राह्मणों की आस्था जुड़ी है, छठ पूजा पर तो न किसी महापुरुष की जयंती व बलिदान दिवस है विशवकर्मा पूजा से भगवान विश्वकर्मा व महर्षि बाल्मीकि जयंती से करोड़ो दलितों की आस्था जुड़ी है रमज़ान मे अलविदा की नमाज़ का विशेष महत्व है अलविदा को भी सूची मे बिना सोचे समझे शामिल कर धार्मिक आस्था को चोट कर करोड़ों लोगों की भावनाओं को ठेस पहुंचाई है रद्द अवकाशों में गरीब नवाज़ के सालाना उर्स का सार्वजनिक अवकाश भी शामिल था अवकाश के रद्द होने से ख्वाजा के मानने वाले व सभी मज़हब के लोगों मे प्रदेश सरकार के फैसले के खिलाफ नाराज़गी है। इसी वर्ष उर्स गरीब नवाज़ 01 मार्च 2020 के मुबारक मौके पर अवकाश के ऐलान की घोषणा करनी चाहिए इसको लेकर चर्चा की मंत्री जी को ने इसी से सम्बन्धित मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नाम सम्बोधित ज्ञापन भी दिया मंत्री नीलिमा कटियार ने चर्चा के बाद ग्रुप के पदाधिकारियों को आश्वस्त किया कि इस विषय पर आदरणीय मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी को पत्र लिखूंगी व स्वयं भी गरीब नवाज़ उर्स पर रद्द अवकाश बहाल करने का अनुरोध करुंगी।
ज्ञापन मे इखलाक अहमद डेविड, इस्लाम खान चिश्ती, आपका बब्लू खान, मुन्ना अंसारी, मोहम्मद तौफीक, आफताब खान, सरदार जसप्रीत सिंह, आज़म महमूद, शेरज़मा अंसारी, एहसान खान, राजन गुप्ता, हाफिज़ शहादत हुसैन, अफज़ाल अहमद, एहतिशाम अंसारी, मोहम्मद जावेद, शाह मोहम्मद, ज़फर अहमद आदि लोग मौजूद थे।