कोचिंग मंडी कानपुर के हॉस्टलों में अभी भी फंसे हैं बिहार-राजस्थान के कई छात्र

-कई दिनों के भूखों छात्र हॉस्टल से निकलकर पहुंचे काकादेव थाने, जिलाधिकारी से बिहार घर पहुंचाने की लगाई गुहार
-थाने में एसएसआई ने भूखे छात्रों को खिलाया खाना खिलाकर जाना कुशल छेम


कानपुर । वैश्विक महामारी ‘कोरोना’ का भारत में भी दिनों-दिन व्यापक असर देखा जा रहा है। इससे बचने के लिए 21 दिन के लॉक डाउन ने सभी को घरों में कैद कर दिया है। इसका बड़ा असर कानपुर की कोचिंग मंडी पर भी पड़ा है। आलम यह है कि कई दिनों से बंद कोचिंग मंडी में प्रदेश के साथ अन्य राज्यों से प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी करने वाले छात्र-छात्राएं हॉस्टलों व किराए के कमरों में फस गए हैं।
शनिवार को कई दिनों से फंसे भूखे छात्र स्थानीय काकादेव थाने पहुंचे और अपने-अपने घरों में जाने की गुहार लगाई। जिलाधिकारी ने छात्रों को उनके घरों तक पहुंचाने की व्यवस्था कराने की बात कही है।
कानपुर जनपद प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी करना का प्रदेश में सबसे बड़ा फब है। यहां कोचिंग मंडी नाम से काकादेव का इलाका प्रदेश के अलावा कई राज्यों में फैला हुआ है। प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी के लिए यहां भारी संख्या में हॉस्टल हैं, जिनमें भारी संख्या में छात्र-छात्राएं रहते हैं। वैश्विक आपदा के चलते लॉक डाउन होने पर चेतावनी को देखते यहां रहने वाले छात्र-छात्राएं समय रहते अपने-अपने घरों के लिए पलायन कर जा चुके हैं। लेकिन अभी भी कई हॉस्टलों में सैकड़ों की संख्या में छात्र-छात्राएं फंस गए हैं। कई दिनों से अपने-अपने हॉस्टलों के कमरों में कैद बिहार, राजस्थान के साथ प्रदेश के कई जिलों के से आए छात्र आज काकादेव थाने पहुंचे। उन्होंने वहां मौजूद एसएसआई मणिभूषण शुक्ला को अपने फसने की दास्तां रोते हुए बयां की और घर पहुचाने की गुहार लगाई। इस पर एसएसआई ने भूख से परेशान छात्रों को कुशल छेप लिया और उन्हें खाना खिलवाया। इसके बाद मामले में आलाधिकारियों को अवगत कराया।
जिलाधिकारी से मांगी मद्द
बिहार के सासाराम से आकर तैयारी करने वाले कई ने एडीएम सिटी को कॉल किया तो उनका फोन नहीं उठ सका। इसके बाद छात्रों ने जिलाधिकारी डॉ ब्रह्मदेव राम तिवारी को कॉल किया। जिलाधिकारी का कॉल रिसीव होते ही छात्रों ने अपनी घर जाने की समस्या बयां की। जिलाधिकारी ने उन्हें बिहार जाने की हर संभव मद्द देने का आश्वासन दिया। इस बीच जब तक वह हॉस्टल में हैं, तब तक खाने की समस्या न होने की भी भरोसा दिलाया।