जहरीली गैस से टेनरी कर्मी की मौत, परिजनों ने टेनरी में तोड़फोड़ कर काटा हंगामा

- कार्रवाई का आश्वासन दे पुलिस ने परिजनों को कराया शांत

कानपुर । चेकरी थानाक्षेत्र के जाजमऊ इलाके में मंगलवार को एक टेनरी कर्मचारी की जहरीली गैस से मौत हो गयी। टेनरी कर्मी की मौत से परिजनों और मौजूद भीड़ उग्र हो गयी। परिजनों ने टेनरी प्रबंधक पर लापरवाही का आरोप लगाकर टेनरी में जमकर तोड़फोड़ कर दी। हालात तनावपूर्ण होते देख सूचना पर पहुंची पुलिस और अधिकारियों ने कार्रवाई का आश्वासन देकर परिजनों को शांत कराया। पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया।
जाजमऊ के देवीगंज में रहने वाला 20 वर्षीय दिलीप कठेरिया हिन्दुस्तान कम्पाउंड में स्थित मास टेनरी में काम करता था। जानकारी के मुताबिक मंगलवार को जब वह टेनरी आया तो उसे टेनरी के टैंक की सफाई करने के लिए कहा गया और बिना सेफ्टी के उसे टैंक के अंदर उतार दिया गया। जिसके बाद वह थोड़ी ही देर में दिलीप बेहोश होने लगा तो साथी कर्मचारियों में हड़कम्प मच गया। इससे पहले कि कोई कुछ समझ पाता दिलीप जहरीली गैस की चपेट में आ चुका था और उसकी हालत गंभीर हो गयी। साथी कर्मचारियों ने उसे आनन-फानन में नजदीक के अस्पताल ले गये जहां पर डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया। बताया जा रहा है कि अमित की मौत के काफी देर बाद उसके परिजनों को सूचना दी गई। परिजनों ने टेनरी प्रबंधन पर लापरवाही का आरोप लगाया। अमित की मौत से भड़के परिजनों और वहां पर मौजूद लोगों ने टेनरी के अंदर घूम-घूमकर तोड़फोड़ की। मौके से टेनरी प्रबंधन के लोग भी भाग गए। तोड़फोड़ की वजह से काफी देर तक अफरातफरी का माहौल बना रहा। तोड़फोड़ की सूचना पर कई थानों का फोर्स, पुलिस और प्रशासनिक अफसर भी मौके पर पहुंच गए और आक्रोशित भीड़ को समझाकर शांत कराया। चकेरी इंस्पेक्टर रणजीत राय ने बताया कि परिजनों के आरोपों की जांच की जा रही है और पोस्टमार्टम रिपोर्ट आने के बाद आगे की कार्रवाई की जाएगी।
टैंक में जबरन भेजने का आरोप
दिलीप के साथियों का आरोप है कि वह लोग हाउस कीपिंग का काम करते हैं। सुबह जब उन लोगों से टैंक साफ करने के लिए भेजा गया, तो उन्होंने एचआर मैनेजर से वहां जाने से मना कर दिया। साथी कर्मचारियों का कहना है उन लोगों ने जहरीली गैस होने का हवाला भी दिया, लेकिन मौके पर मौजूद एचआर ने कुछ नहीं होने की बात कही। कर्मचारियों का आरोप है कि टैंक साफ न करने पर मजदूरों का वेतन रोकने के साथ ही उन्हें नौकरी से निकालने की धमकी भी दी गई। इसके बाद दिलीप टैंक में उतरा और जहरीली गैस की चपेट में आ गया। साथी मजदूरों का कहना है कि उन्हें सेफ्टी किट भी नहीं दी जाती है।
चोरी छिपे चल थी टेनरी
टेनरी कर्मी की मौत से एक बार फिर से जाजमऊ की टेनरियों पर सवाल खड़े हो गए हैं और चोरी छिपे टेनरी चलने का आरोप लगता रहा। गौरतलब हो कि गंगा में प्रदूषण फैलाने की वजह से पिछले कई महीनों से टेनरियां बंद हैं। हालांकि, ट्रीटमेंट प्लांट में आने वाले फ्लो जरुर कई बार चोरी छिपे टेनरियों के चलने की गवाही दे चुका है, लेकिन इस घटना के बाद एक बार फिर से टेनरियों पर सवाल खड़े हो गए हैं कि बंदी के आदेशों को धता बताते हुए उन्हें चोरी छिपे किस तरह से चलाया जा रहा है। इसके अलावा मजदूरों की जान से भी लगातार खिलवाड़ किया जा रहा है। हालांकि जिलाधिकारी विजय विश्वास पंत ने घटना का संज्ञान लेते हुए संबंधित अधिकारियों से जवाब तलब किया है। जिलाधिकारी ने कहा कि दो दिनों के अंदर पूरे मामले की रिपोर्ट बनाकर भेजी जाये और यह भी बताया जाये कि टेनरी मानक पूरी कर रही थी कि नहीं।
छह लाख का मिला मुआवजा
टेनरी कर्मी की मौत पर परिजनों ने 20 लाख रुपये का मुआवजा दिये जाने की मांग की थी और हंगामा काटा था। पुलिस और परिजनों के दबाव को देखते हुए हिन्दुस्तान कम्पाउंड के मालिक ने मृतक के परिजनों से कई बार बात की, लेकिन परिजन मानने को तैयार ही नहीं थे। कई घंटे की बातचीत के बाद टेनरी मालिक ने मृतक के परिजनों को छह लाख का मुआवजा देने की बात कही। जिसके बाद मामला शांत हो सका और पुलिस ने भी राहत की सांस ली।